📘 कार्यपालिका (Executive) – कक्षा 11 राजनीति विज्ञान
🌟 कार्यपालिका क्या है? (What is Executive?)
कार्यपालिका (Executive) शासन का वह अंग है जो सरकार के प्रशासनिक कार्यों को क्रियान्वित करता है।
यह कानूनों को लागू करने, नीतियाँ बनाने और जनता के कल्याण के लिए निर्णय लेने का काम करती है।
👉 विधायिका (Legislature) कानून बनाती है,
👉 कार्यपालिका (Executive) कानूनों को लागू करती है,
👉 और न्यायपालिका (Judiciary) कानूनों की व्याख्या करती है।
कार्यपालिका सरकार का सक्रिय अंग है। यह देश की नीतियों को क्रियान्वित करती है और शासन के दैनंदिन कार्यों का संचालन करती है।
🔹 कार्यपालिका के प्रकार
- संसदीय कार्यपालिका (Parliamentary Executive)
- इसमें कार्यपालिका विधायिका के प्रति उत्तरदायी होती है।
- जैसे – भारत, ब्रिटेन।
- राष्ट्रपति प्रणाली की कार्यपालिका (Presidential Executive)
- इसमें कार्यपालिका विधायिका से स्वतंत्र होती है।
- जैसे – अमेरिका।
🇮🇳 भारतीय संसदीय कार्यपालिका (Parliamentary Executive in India)
भारत में कार्यपालिका संसदीय प्रणाली पर आधारित है।
संविधान के अनुच्छेद 52 से 78 तक कार्यपालिका से संबंधित प्रावधान हैं।
🔹 संरचना (Structure of Executive)
भारतीय कार्यपालिका के तीन मुख्य अंग हैं —
- राष्ट्रपति (President)
- उपराष्ट्रपति (Vice President)
- प्रधानमंत्री और मंत्रिपरिषद (Prime Minister and Council of Ministers)
इनके अतिरिक्त एक स्थायी कार्यपालिका (Permanent Executive) भी होती है, जिसे ब्यूरोक्रेसी कहा जाता है।
🏛️ राष्ट्रपति (President of India)
🔸 राष्ट्रपति की स्थिति
भारत का राष्ट्रपति राज्य का प्रमुख (Head of the State) होता है।
वह संविधान के अनुसार कार्यपालिका की समस्त शक्तियों का प्रतीक है।
🔸 चुनाव (Election of President)
राष्ट्रपति का चुनाव एक निर्वाचन मंडल (Electoral College) द्वारा होता है, जिसमें शामिल हैं —
- संसद के दोनों सदनों (लोकसभा व राज्यसभा) के निर्वाचित सदस्य,
- तथा राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की विधानसभाओं के निर्वाचित सदस्य।
यह चुनाव एकल हस्तांतरणीय मत प्रणाली (Single Transferable Vote) और अनुपातिक प्रतिनिधित्व प्रणाली से होता है।
🔸 कार्यकाल (Term)
राष्ट्रपति का कार्यकाल 5 वर्ष होता है, और वह पुनः निर्वाचित हो सकता है।
🔹 राष्ट्रपति की शक्तियाँ (Powers of the President)
1. कार्यपालिका संबंधी शक्तियाँ (Executive Powers)
- प्रधानमंत्री और अन्य मंत्रियों की नियुक्ति करता है।
- राज्यपालों, उच्चाधिकारियों, न्यायाधीशों, और राजनयिकों की नियुक्ति करता है।
- सभी सरकारी कार्य राष्ट्रपति के नाम से किए जाते हैं।
2. विधायी शक्तियाँ (Legislative Powers)
- संसद का सत्र बुलाना, स्थगित करना या भंग करना।
- संसद को संबोधित करना।
- संसद में विधेयक प्रस्तुत होने की अनुमति देना।
- अध्यादेश (Ordinance) जारी करना जब संसद सत्र में न हो।
3. न्यायिक शक्तियाँ (Judicial Powers)
- दंड माफी, स्थगन, राहत या दंड रूपांतरण का अधिकार।
- अनुच्छेद 72 के तहत यह शक्ति उसे प्राप्त है।
4. सैन्य शक्तियाँ (Military Powers)
- राष्ट्रपति सशस्त्र सेनाओं का सर्वोच्च सेनापति (Supreme Commander) होता है।
- युद्ध की घोषणा और शांति स्थापना का अधिकार रखता है।
5. आपातकालीन शक्तियाँ (Emergency Powers)
संविधान में तीन प्रकार की आपातकालीन स्थितियाँ हैं:
- राष्ट्रीय आपातकाल (अनुच्छेद 352),
- राज्य आपातकाल (अनुच्छेद 356),
- वित्तीय आपातकाल (अनुच्छेद 360)।
इन सभी स्थितियों में राष्ट्रपति के अधिकार असाधारण रूप से बढ़ जाते हैं।
👑 प्रधानमंत्री (Prime Minister)
🔸 प्रधानमंत्री की स्थिति
प्रधानमंत्री भारत सरकार का वास्तविक प्रमुख (Real Head of the Government) होता है।
वह मंत्रिपरिषद का नेता, संसद में बहुमत दल का प्रमुख, और राष्ट्रपति का मुख्य सलाहकार होता है।
🔸 नियुक्ति
राष्ट्रपति उस व्यक्ति को प्रधानमंत्री नियुक्त करता है जो लोकसभा में बहुमत का समर्थन रखता है।
🔹 प्रधानमंत्री की शक्तियाँ और भूमिकाएँ
1. कार्यपालिका प्रमुख के रूप में
- सभी मंत्रालयों और विभागों का समन्वय करता है।
- महत्वपूर्ण नीतिगत निर्णय लेता है।
2. मंत्रिपरिषद के नेता के रूप में
- मंत्रियों की नियुक्ति में भूमिका निभाता है।
- मंत्रिपरिषद की बैठकों की अध्यक्षता करता है।
- मंत्रियों के बीच मतभेद होने पर निर्णय करता है।
3. संसद में भूमिका
- संसद में सरकार का प्रतिनिधित्व करता है।
- सरकार की नीतियों को संसद में प्रस्तुत करता है।
- लोकसभा के प्रति उत्तरदायी रहता है।
4. पार्टी नेता के रूप में
- अपनी पार्टी का नेतृत्व करता है।
- संसद में दल अनुशासन बनाए रखता है।
5. विदेश नीति में भूमिका
- विदेश नीति और अंतरराष्ट्रीय संबंधों में देश का प्रतिनिधित्व करता है।
👉 इस प्रकार प्रधानमंत्री ही देश के प्रशासन का वास्तविक नियंत्रणकर्ता होता है।
🏢 मंत्रिपरिषद (Council of Ministers)
🔸 संरचना
अनुच्छेद 74 के अनुसार —
“प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में एक मंत्रिपरिषद होगी जो राष्ट्रपति को अपने कार्यों में सहायता और सलाह देगी।”
मंत्रिपरिषद तीन श्रेणियों में बँटी होती है:
- कैबिनेट मंत्री (Cabinet Ministers)
- राज्यमंत्री (Ministers of State)
- उपमंत्री (Deputy Ministers)
🔸 सामूहिक उत्तरदायित्व (Collective Responsibility)
संसदीय प्रणाली की सबसे महत्वपूर्ण विशेषता है कि मंत्रिपरिषद लोकसभा के प्रति सामूहिक रूप से उत्तरदायी होती है।
यदि लोकसभा में अविश्वास प्रस्ताव पारित हो जाए, तो पूरी मंत्रिपरिषद को त्यागपत्र देना पड़ता है।
⚙️ स्थायी कार्यपालिका: नौकरशाही (Permanent Executive: Bureaucracy)
🔸 अर्थ
नौकरशाही (Bureaucracy) वह स्थायी प्रशासनिक तंत्र है जो सरकार की नीतियों और निर्णयों को धरातल पर लागू करता है।
🔸 विशेषताएँ
- राजनीतिक रूप से निष्पक्ष
- स्थायी और स्थिर प्रशासन प्रदान करती है।
- नीतियों का क्रियान्वयन, वित्तीय नियंत्रण, सार्वजनिक सेवाओं का संचालन करती है।
🔸 भूमिका
- सरकार के निर्णयों को कार्यान्वित करना।
- योजनाओं की निगरानी करना।
- नीति निर्माण में विशेषज्ञ परामर्श देना।
- जनता से सरकार का संपर्क बनाना।
🔸 भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS), भारतीय पुलिस सेवा (IPS), भारतीय विदेश सेवा (IFS)
ये भारत की प्रमुख सेवाएँ हैं जो स्थायी कार्यपालिका के अंतर्गत आती हैं।
⚖️ राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और ब्यूरोक्रेसी का संबंध
- राष्ट्रपति नाममात्र प्रमुख (Nominal Head) है।
- प्रधानमंत्री और मंत्रिपरिषद वास्तविक प्रमुख (Real Executive) हैं।
- ब्यूरोक्रेसी स्थायी कार्यपालिका है जो निरंतर प्रशासनिक कार्य करती है।
इन तीनों के बीच संतुलन और सहयोग से शासन सुचारू रूप से चलता है।
🌍 निष्कर्ष (Conclusion)
भारतीय कार्यपालिका संविधान की भावना पर आधारित एक लोकतांत्रिक एवं उत्तरदायी संस्था है।
राष्ट्रपति संवैधानिक प्रमुख हैं,
प्रधानमंत्री वास्तविक नेता,
और ब्यूरोक्रेसी प्रशासनिक रीढ़ है।
इनके परस्पर सहयोग से भारत में शासन-प्रणाली निरंतर चलती रहती है और लोकतंत्र सशक्त होता है।
